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सेंधवा; निवाली के एकलव्य स्कूल में भेदभाव के आरोप, प्राचार्य को हटाया तो थमा छात्रों का आंदोलन

निवाली में प्राचार्य के रवैये से नाराज छात्रों का 60 किमी पैदल मार्च, जिला प्रशासन के आदेश के बाद लौटे विद्यार्थी

बड़वानी; रमन बोरखड़े। जिले के निवाली तहसील में स्थित एकलव्य आदर्श आवासीय स्कूल पुरुषखेड़ा के 170 छात्र-छात्राओं ने प्राचार्य पर जातिसूचक शब्दों से अपमानित करने का आरोप लगाते हुए कलेक्टर से मिलने 60 किमी पैदल मार्च निकाला।


प्राचार्य पर जातिसूचक शब्दों के आरोप, छात्रों का प्रदर्शन

बड़वानी। सेंधवा के समीप निवाली तहसील के एकलव्य आदर्श आवासीय स्कूल पुरुषखेड़ा में सोमवार को तनाव का माहौल बन गया। स्कूल के करीब 170 छात्र-छात्राएं प्राचार्य मीनाक्षी भार्गव, वार्डन हिमांशु कुमार, शिक्षक रवि रंजन सिंह और मनोज शुक्ला पर जातिसूचक अपमान, भेदभाव और प्रताड़ना के आरोप लगाते हुए कलेक्टर से मिलने 60 किमी दूर पैदल निकल पड़े।

छात्रों का आरोप और पीड़ा

विद्यार्थियों का आरोप है कि हॉस्टल में थाली मांगने पर उन्हें जातिसूचक शब्दों से अपमानित किया जाता है। समस्याओं के समाधान के लिए जब प्राचार्य से संपर्क किया जाता है, तो वे प्रताड़ित करने लगती हैं। इसके अलावा, छठी से 11वीं कक्षा तक पढ़ाई करने वाले विद्यार्थियों को केवल एक बार ही स्कूल यूनिफॉर्म दिया गया है।

प्रशासन की दखलअंदाजी

मार्च कर रहे छात्रों को मेराली गांव में रोका गया। पानसेमल एसडीएम रमेशचंद्र सिसोदिया, सहायक आयुक्त जेएस डामोर सहित अन्य अधिकारी मौके पर पहुंचे। अधिकारियों ने समझाइश दी, लेकिन छात्र-छात्राएं प्राचार्य को हटाने की मांग पर अड़े रहे। इसके बाद जिला पंचायत सीईओ काजल जावला ने हस्तक्षेप किया और जांच का आश्वासन दिया।

देर शाम प्राचार्य को हटाया

आंदोलन के दबाव में देर शाम सहायक आयुक्त जेएस डामोर ने आदेश जारी कर प्राचार्य मीनाक्षी भार्गव को प्राचार्य के प्रभार से हटाकर पीसी शर्मा को प्रभार सौंप दिया। इसके बाद विद्यार्थी आंदोलन समाप्त कर लौटे।

दो साल पहले भी उठा था विवाद

गौरतलब है कि दो साल पहले भी इसी तरह की घटनाओं पर छात्रों ने पैदल मार्च निकाला था। तब प्राचार्य मीनाक्षी भार्गव को पांच दिन के लिए निलंबित किया गया था, लेकिन बाद में उन्हें पुनः पदस्थ कर दिया गया।

प्राचार्य का पक्ष

प्राचार्य मीनाक्षी भार्गव ने आरोपों को खारिज करते हुए कहा कि अनुशासन बनाए रखने के लिए सख्ती बरतनी पड़ती है। छात्र अनुशासनहीनता करते हैं, स्कूल में मोबाइल लाते हैं। हाल ही में एक छात्रा को मोबाइल मिलने पर टीसी दी गई थी, वही अन्य को उकसाकर विरोध करवा रही है। भोजन व ड्रेस की समस्या पर प्राचार्य ने कहा कि बजट की कमी के कारण परेशानी है, लेकिन प्रक्रिया शुरू हो चुकी है।

प्रशासन का बयान

जिला पंचायत सीईओ काजल जावला ने कहा कि छात्रों की शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए जांच की जा रही है। इसी क्रम में प्राचार्य को हटाने का निर्णय लिया गया।

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