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मराठी सोशल ग्रुप और स्वच्छता प्रेमी जनता ने पेश की जीरो वेस्ट जत्रा की अनूठी मिसाल

मुंबई के कलाकारों ने दी लावणी की आकषर्क प्रस्तुतियां, हजारों लोग उमड़े

जत्रा में तीन दिनों में 7 लाख से ज्यादा इंदौरी हुए सम्मिलित

अगले साल 18, 19 एवं 20 अक्टूबर 2024 को फिर मिलने के वादे से विदा हुई जत्रा

स्वाद और संस्कृति के महाकुंभ का हुआ समापन

इंदौर। मराठी सोशल ग्रुप द्वारा आयोजित स्वाद एवं संस्कृति के महाकुंभ जत्रा में रविवार को समापन पर इंदौरियो का हजारों की संख्या में जनसैलाब उमड़ा यह जत्रा पोद्दार प्लाजा गांधी हाल एमजी रोड पर आयोजित किया गया था। इसका समापन रविवार हुआ । इन तीन दिनो में सात लाख से ज्यादा इंदौरी सम्मिलित हुए। समापन समारोह में निमाड़ अभ्युदय की प्रवयाजिका विशुद्धानंद भारती, अखिल भारतीय वृहनमहाराष्ट्र मंडल के अध्यक्ष श्री मिलिंद महाजन, एवं अलाउद्दीन खा संगीत अकादमी म प्र शासन के निदेशक श्री जयंत भिसे जी के आतिथ्य में सम्पन्न हुआ। प्रवयाजिका विशुद्धानंद भारती ने अपने उद्बोधन में कहा कि मुझे जत्रा में आकर बहुत अच्छी अनुभूति हुई क्योंकि यह शुद्ध रूप से समाज सेवा हेतु धनोर्पाजन के उद्देश्य से किया जाता है। श्री मिलिंद जी महाजन ने बोला कि मराठी सोशल ग्रुप द्वारा आयोजित किया जाने वाला जत्रा इंदौर ही नही वरन सम्पूर्ण भारत की पहचान बन चुका है। श्री जयंत भिसे जी ने बोला कि मुझे खुशी है कि जिस उद्देश्य और स्ट्रक्चर सिद्धान्त से जत्रा शुरू की गई थी वह आज 23 वर्षों तक बरकरार है। इसके लिए में मराठी सोशल ग्रुप के सभी सदस्यों को बधाई के पात्र है।

संस्था के सुधिर दांडेकर और राजेश शाह ने बताया कि हमारे द्वारा इस वर्ष भी जत्रा 100% जीरो वेस्ट था। इस आयोजन में 100% बायोडिग्रेबल आइटम का इस्तेमाल किया गया। शाम 6 बजे तक करीबन 7320 किलो गीले कचरे की खाद एवं बायोडिग्रेडेबल सूखा कचरा 6200 किलो कचरा कंपोस्ट किया गया। इस तरह से कुल 10 टन के करीब कचरा रीसायकल किया गया । चुकी जत्रा में उपयोग किये गए प्रमोशनल मटेरियल फ्लेक्स के स्थान पर उपयोग किया गया फेब्रिक, पेम्पलेट्स आदि सामान (करीब 150 किलो ) भी इवेंट समापन के पश्चात कंपोस्ट किया जाएगा।

जत्रा में दस के करीब विभिन्न स्थानों पर काउंटर बनाए गए थे जिनमें सूखा और गीला कचरा अलग-अलग किया जा रहा था। सूखे गीले कचरे की खाद बनाकर नगर निगम को सौंप दी गई है।

संस्था के सुधीर दांडेकर और राजेश शाह ने बताया कि सुबह 11:00 बजे से ही लोगो का आना शुरू हो गया था, इंदौरवासियो ने दीपावली की खरीददारी खूब की। शाम होते ही इंदोरवासियो का जमावड़ा और बढ़ गया। लोगों का उत्साह देखते ही बन रहा था। इंदौरवासी ने गृह साज-सज्जा, सहित अन्य उत्पाद की खूब खरीददारी की।

इन तीन दिनो में ट्रेड जोन में तकरीबन 4.80 करोड़ का व्यापार हुआ, जत्रा में तकरीबन 7 लाख से ज्यादा लोग सम्मिलित हुए, फूड जोन में भी इंदौरियों ने मराठी व्यंजनों का स्वाद भी लिया। इन फूड जोन में भी काफी अच्छा प्रतिसाद मिला।

जत्रा में लोगो का उत्साह देखकर संस्था के सुधीर दांडेकर, राजेश शाह ने इंदौर वासियों के प्रति आभार माना साथ ही उन्होंने पुलिस प्रशासन,नगर निगम,मीडिया का आभार भी जताया। और अगले साल फिर जत्रा में मिलने के वादे के साथ जत्रा ने विदा ली।

तृप्ति महाजन एवं सुमेधा बावकर ने बताया कि 50 से ज्यादा मराठी व्यंजनों के स्टॉल रहे जिनमे पुरण पोळी, झुणका भाकर, भाकरवडी, सोलकढी, साम्भरवड़ी, पातोड़ि आदी विविध व्यंजनो को परोसा गया जिसे इंदौरियो ने खूब शौक से हर जायके का आनंद उठाया।

संकेता देशकुलकर्णी एवं सुप्रिया पुंडलिक ने बताया कि इंदौरीयो ने हैंडीक्राफ्ट आइटम जिसमे गृह साज सज्जा, दीपावली डेकोरेशन, इसके अलावा हस्त निर्मित खाद्य पदार्थ और विशेष कोकन के उत्पाद की भी खूब खरीदारी की। सभी उत्पाद पर जत्रा में विशेष दिवाली ऑफर के तहत छूट दी जा रही है।

मुंबई से आए कलाकारो ने लावणी और मराठी लोक नृत्य की धमाकेदार प्रस्तुति दी इन कलाकारों की प्रस्तुति ने इंदौरियो का मन मोह लिया।

जत्रा में आने वाले दिव्यांग और बुजुर्गों के लिए निशुल्क ई-रिक्शा की सुविधा रखी गई थी जो गेट से आयोजन स्थळ तक निःशुल्क छोड़ा गया। सुरक्षा की दृष्टि को देखते हुए जत्रा परिसर में सीसीटीवी कैमरे लगाए गए थे, और निजी सुरक्षा गार्डों की भी तैनाती रही।

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