जो संघात होता है उसी का विस्फोट होता है- आचार्य विशुद्ध सागर
अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर महिलाओं ने भीषण गर्मी में अपने घरों की छतों पर पक्षियों के लिए सकोरे व दाना-पानी रखने का लिया संकल्प

सुमतिधाम पर छाया उल्लास- गजरज पर निकाली भगवान सुमतिनाथ की शोभायात्रा
प्रदेश के मुखिया मोहन यादव ने लिया आचार्य विशुद्ध सागर का आशीर्वाद, सुमतिधाम व संत निवास सौभाग्य सदन का किया अवलोकन
सुमतिधाम पर पंचकल्याणक महोत्सव में जन्म कल्याणक का उत्सव मना, लाव-लश्कर के साथ परिसर में निकली भव्य शोभायात्रा
तीन दिन में 1 लाख से अधिक भक्तों ने निहारा सुमतिधाम को, इन्दौर सहित देश-विदेश से आए श्रावक-श्राविकाओं ने आयोजन की कि प्रशंसापूरे सुमतिधाम पर 5000 हजार से अधिक लोग जुटे व्यवस्था देखने में, स्वच्छता का भी रखा जा रहा विशेष ध्यान
इन्दौर । वे जीव धरती पर धन्य हैं जो ऐसा द्रव्य का नियोग, संयोग बना कर आए हैं। एक जीवन जन्म लेता है। कब जन्म लिया पड़ोसी को मालूम नहीं होता और कब मृत्यु हो गई कुटुंब को मालूम नहीं होता। एक ऐसा जीव जिसके जन्म लेने पर नरक की नारकी को भी स्वर्ग का आनंद महसूस होता है और तीनों लोक में क्षोम हो जाता है। इस शक्ति के संचय के लिए, विस्फोट के लिए विस्तार चाहिए, संघात के लिए विस्तार की आवश्यकता नहीं है, पर जो संघात होता है उसी का विस्फोट होता है। परमात्मा का जन्म कल्याणक देखते देखते आप सभी को ऐसा महसूस होना चाहिए कि प्रभु ऐसी कौन सि शक्ति आपके पास थी जिसके नियोग से सौधर्म इंद्र भी सहस्र नेत्रों से आपको निहारता है। संसार में वे लोग भी हैं जिन्हे देखते ही हम आँखें बंद कर लेते हैं और वे लोग भी हैं जिन्हें देखने के लिए आँखें तरसती हैं। यह बात जैन आचार्य विशुद्ध सागर जी महाराज ने कही। वे गांधी नगर स्थित गोधा एस्टेट सुमतिधाम में आयोजित पंचकल्याणक महोत्सव के तीसरे दिन जन्म कल्याणक महोत्सव के अवसर पर उपस्थित सभी श्रावक-श्राविकाओ को प्रभु के जन्म कल्याणक की महिमा का गुणगान करते सम्बोधित कर रहे थे।
पंचकल्याणक महामहोत्सव समिति आयोजक मनीष-सपना गोधा ने बताया कि पंचकल्याणक महोत्सव में शुक्रवार के दिन हजारों भक्तों का जनसैलाब सुमतिधाम पर उमड़ा। आचार्यश्री के दर्शन के अभिलाषी सभी श्रावक-श्राविका शहर से ही नहीं अपिुत देश-विदेश से यहां पधारे थे। शुक्रवार को प्रदेश के मुखिया मोहन यादव ने भी आचार्यश्री विशुद्ध सागर का आशीर्वाद प्राप्त किया। उन्होंने न सिर्फ सुमतिधाम पर बने नूतन जिनालय की सराहना की बल्कि संत निवास सौभाग्य सदन का भी अवलोकन किया। मुख्यमंत्री मोहन यादव के साथ ही मंत्री कैलाश विजयवर्गीय, महापौर पुष्यमित्र भार्गव, जिला अध्यक्ष चिंटू वर्मा, विधायक गोलू शुक्ला ने भी आचार्यश्री का आशीर्वाद प्राप्त किया।
गजरज पर निकली भगवान सुमतिनाथ की शोभायात्रा – पंचकल्याणक महामहोत्सव समिति आयोजक मनीष-सपना गोधा ने बताया कि शुक्रवार को प्रतिष्ठाचार्य प्रदीपकुमार जैन मधुर (मुंबई), सह-प्रतिष्ठाचार्य चंद्रकांत गुंडप्पा इंड़ी (कर्नाटक), पं. नितिनजी झांझरी (इन्दौर), विधानाचार्य पीयूष प्रसून (सतना) एवं तरूण भैय्याजी (इन्दौर) के सान्निध्य में सुबह के सत्र में पूजन की सभी विधियों के साथ ही प्रात: 10.30 बजे जन्माभिषेक का उत्सव मनाया गया। जिसमें भगवान सुमतिनाथ की गजरज पर भव्य शोभायात्रा सुमतिधाम परिसर में ही निकाली गई। गाजे-बाजे के साथ निकली यात्रा में इंद्र-इंद्राणियों सहित हजारों की संख्या में जैन धर्मालुजन शामिल हुए। वहीं शाम 7.30 बजे पालनोत्सव में सभी समाज बंधुओं और महिला मंडल द्वारा गीत व भजनों की प्रस्तुति दी गई। पंचकल्याणक महोत्सव में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस भी मनाया गया। जिसमें सभी मातृशक्तियों ने अपने घरों पर पक्षियों के लिए सकोरे व दाना-पानी रखने का संकल्प भी लिया। पंचकल्याणक महोत्सव में तीन दिन में 1 लाख से अधिक जैन धर्मालुजनों ने नूतन सुमतिधाम जिनालय एवं सौभाग्य सदन को निहारा। महोत्सव में 5000 हजार से अधिक कार्यकर्ता यहां की व्यवस्थाओं में जुटे हुए हैं। प्रवचन स्थल, 4 भोजन शाला सहित मार्ग में स्वच्छता का भी विशेष ध्यान रखा जा रहा है।
लेजर लाईट शो देखने उमड़ा समाज – सुमतिधाम पर सुबह से शाम तक धार्मिक व सांस्कृतिक कार्यक्रम का दौर जारी है। दोपहर के सत्र में भजन गायक जहां आयोजन में समा बांधे हुए हैं तो वहीं रात को लेजर लाईट शो को देखने बड़ी संख्या में समाज बंधु सुमतिधाम पहुंच रहे हैं। प्रतिदिन अलग-अलग कार्यक्रमों में अद्भूत लेजर शो, ड्रोन शो, प्रोजेक्ट मेपिंग आदि नई तकनीकों के माध्यम से जैन धर्म की विशेषताओं तीर्थ दर्शन आदि को प्रस्तुत कर रहे है। वहीं मंच पर 1800 वर्ग फीट का एलईडी लगाया गया है। वहीं 20 हजार लोगों बैठ सके ऐसे वातानुकूलित पांडाल बनाया गया है। पंचकल्याणक महोत्सव में 4 हजार वर्ग फीट एलईडी का प्रयोग किया गया है।
पंचकल्याणक महामहोत्सव समिति आयोजक मनीष-सपना गोधा ने बताया कि शनिवार 9 मार्च को दीक्षा एवं तप कल्याणक महोत्सव का उत्सव मनाया जाएगा। वहीं शाम को सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति अन्य राज्यों से आए कलाकारों दी जाएगी। वहीं इस अवसर पर भजनों की प्रस्तुति भी दी जाएगी। इसी के साथ रविवार 10 मार्च को ज्ञान कल्याणक महोत्सव एवं सोमवार 11 मार्च को मोक्ष कल्याणक महोत्सव के साथ ही इस 6 दिवसीय पंचकल्याणक महामहोत्सव का समापन होगा।
प्रथमा नियोग एक पर्दा है – आचार्य विशुद्ध सागर महाराज ने कहा कि प्रथमा नियोग एक पर्दा है जिसमें दिखता है। कोई भी फि़ल्म बनती है तो उसके बनने का स्थान अलग होता है और उसे दिखाने का स्थान अलग होता है। जो बनने का स्थान होता है वहाँ भीड़ नहीं होती परंतु जो दिखाने का स्थान होता है वहाँ भीड़ होती है। प्रथमा नियोग एक पर्दा है और करुणा नियोग बनने का स्थान है। आत्मा पुदगल और जीव पुदगल अलग है। द्रव्य नियोग अलग है। आत्मा भिन्न है और देह भिन्न है और द्रव्यानो कि दृष्टि भिन्न है। द्रव्य नियोग से विकास संभव नहीं है। सोधर्म इंद्र और माता पिता द्रव्य नियोग हैं।