सेंधवा; जो लोग कन्या को गर्भ में मार देते है, वे घोर पाप के दोषी होते है, उन्हें भगवान कभी माफ नहीं करते

सेंधवा। बेटियां अभिशाप नहीं वरदान होती है। बड़े भाग्यशाली होते है वे लोग जिनके यहां बिटिया जन्म लेती है। वह परिवार सौभाग्यशाली होकर खुशियां से महकता है। शास्त्रों में कन्या दान से बड़ा कोई दान नही होता है। बिटिया एक नहीं दो कुल का नाम रोशन करती है। जो लोग कन्या को गर्भ में मार देते है वे घोर पाप के दोषी होते है उन्हे भगवान कभी माफ नहीं करते। उक्त वचन सत्यनारायण मंदिर पर अग्रवाल महिला मंडल द्वारा आयोजित शिव पुराण कथा में पंडित आदित्य त्रिपाठी ने कथा के चतुर्थ दिन शनिवार को व्यक्त किए।
पंडित त्रिपाठी ने कहा की राजा दक्ष ने घोर तपस्या कर माता सती को अपनी पुत्री के रूप में प्राप्त किया था। माता सती ने भगवान शंकर से विवाह किया था। पिता राजा दक्ष द्वारा एक अपने अहंकार में एक अनुष्ठान के तहत हवन पर सभी देवी देवताओं को आमंत्रित किया, किंतु उन्होंने भगवान शिव को आमंत्रित नहीं कर उनका अपमान करने पर माता सती हवन कुंड में कूद गई थी। इसलिए कहा जाता है की बिना आमंत्रण के किसी के यहां नहीं जाना चाहिए। शिव सृष्टि के रचीयता है तो माता सती प्रकृति का स्वरूप है। जहां पर शिव को नहीं बुलाया जाता है वहां पर ब्रह्माजी, विष्णुजी भी नहीं जाते है।
घर में कभी कलेश नहीं करे- घर में कभी कलेश नहीं करना चाहिए। इससे सुख, समृद्धि का विनाश होकर अशांति आती है। घर गृहस्थी में छोटी छोटी बातों में विवाद होते रहते है। घर में दो बर्तन रहते है तो उसमे टकराव तो होता है, किंतु अपनी वाणी में नम्रता होने से घर में सुख शांति बनी रहती है। अपने माता-पिता, सास ससुर का हमेशा सम्मान करते रहने से घर में बरकत रहती है। लक्ष्मी का वास रहता है। जो व्यक्ति सुबह उठने के बाद अपने माता पिता के चरण स्पर्श करते है, उन्हें देवता के चरण स्पर्श जैसा पुण्य प्राप्त होता है।
न्पाध्यक्ष ने किया पोथी पूजन-
नपा अध्यक्ष बसंती बाई यादव ने पंडित त्रिपाठी का स्वागत कर शिव पुराण पोथी की पूजा अर्चना की। इस दौरान आरती में पार्षद कांता बाई यादव, अग्रवाल समाज अध्यक्ष श्यामसुंदर तायल, कैलाश काका, राहुल गर्ग, ओम प्रकाश तायल, राजेंद्र गोयल, ज्योसना अग्रवाल, रानी मंगल, किरण तायल, मीना चोमूवाला, निर्मला मंगल, सुशीला सिंहल, उषा तायल, सहित महिलाए उपस्थित थी ।