
सेंधवा। द हीलिंग रुट्स एवम निरामया होमियोपैथिक द्वारा निवाली रोड पर स्थित मराठे कॉम्लेक्स में किया गया इस दौरान 123 मरीजों का उपचार किया गया । शिविर का संचालक होम्योपैथी डॉ पूर्वी वाघ व डॉ महेश नगरे, डॉ नैंसी गोयल ने बताया कि अंतराष्ट्रीय महिला दिवस पर एक दिवसीय शिविर में 123 महिलाओं ने अपने स्वास्थ्य का परीक्षण करवाया। जिसमे अधिकतम महिलाओं में अनियमित मासिक धर्म की समस्या, चर्म रोग, वीपी, शुगर जैसी बीमारी से ग्रस्त थी। यह ऐसी बीमारियां है जिन्हें हम घर में काम काज के दौरान ही सुधार कर सकते है। इसके लिए अपनी दिनचर्या को बदलना होगा। अधिकतर महिलाएं गृहस्थी जीवन जीती हैं। जिससे वे अक्सर बहुत अधिक काम करती है व देर रात तक जागती रहती है। जिसकी वजह से उनमें थकान अधिक आती है। तनाव अधिक होने से चिड़चिड़ापन आने से शुगर लेवर बढ़ जाता है। जिसकी वजह से उन्हें मासिक धर्म भी अनियमित हो जाता है। इसके लिए उन्हें अपने दिनचर्या में बदलाव लाना होगा। सबसे पहले उन्हें जल्दी उठने की आदत डाल कर मार्निंग वॉक पर जाना चाहिए नियमित व्यायाम, योगा करना चाहिए। हेल्दी भोजन से बचना चाहिए। वही रात्रि को जल्दी सोना चाहिए। नींद पूरी होने से मानसिक तनाव कम रहता है। शुगर लेवल में रहती है। समय पर भोजन व डाइट का ध्यान रखने से मासिक धर्म भी नियमित हो जाते है। इससे त्वचा रोग पर भी असर होकर वीपी भी कंटोल में रहता है। इसलिए जीवन में आनंद व सुखी परिवार के लिए चार्ट बनाकर उसके आधार पर दिनचर्या रखने से बहुत सी बीमारियों से छुटकारा पाया जा सकता है डाक्टर की आवश्यकता नहीं है। कई बीमारियों के आप ही डॉक्टर बन सकते हैं ।