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इंदौर से लापता अर्चना तिवारी 12 दिन बाद लखीमपुर खीरी में बरामद

रक्षाबंधन पर घर लौटते वक्त ट्रेन से लापता हुई अर्चना तिवारी 12 दिन बाद नेपाल बॉर्डर के पास से मिलीं। पुलिस पूछताछ में जुटी है कि आखिर वे वहां तक कैसे पहुंचीं।

इंदौर से कटनी जाते समय ट्रेन से रहस्यमयी तरीके से गायब हुई छात्रा अर्चना तिवारी का सुराग 12 दिन बाद मिल गया। पुलिस ने मंगलवार को लखीमपुर खीरी, नेपाल बॉर्डर के पास से उन्हें बरामद किया। अब जांच जारी है कि वह वहां कैसे पहुंचीं।

      मध्य प्रदेश के इंदौर से कटनी जाती अर्चना तिवारी का रहस्यमयी गुमशुदगी का मामला आखिरकार सुलझ गया। छात्रा को मंगलवार शाम लखीमपुर खीरी, नेपाल बॉर्डर से सुरक्षित बरामद किया गया। भोपाल के एसआरपी राहुल कुमार लोढ़ा ने इसकी पुष्टि की। पुलिस ने बताया कि अर्चना 7 अगस्त की रात इंदौर से नर्मदा एक्सप्रेस में सवार होकर निकली थीं, लेकिन 8 अगस्त की सुबह कटनी नहीं पहुंचीं।

रक्षाबंधन के लिए घर निकली थीं

कटनी निवासी अर्चना तिवारी इंदौर में रहकर प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करती हैं। रक्षाबंधन मनाने के लिए उन्होंने 7 अगस्त की रात ट्रेन पकड़ी थी। अगले दिन तक संपर्क न होने पर परिवार ने गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। मामले की संवेदनशीलता देखते हुए इंदौर पुलिस ने विशेष टीम गठित की और मोबाइल लोकेशन, सीसीटीवी फुटेज एवं रेलवे रिकॉर्ड की जांच शुरू की।

जीआरपी और एसटीएफ की कार्रवाई

खोजबीन के दौरान जीआरपी को अर्चना के लखीमपुर खीरी में होने की जानकारी मिली। इसके बाद स्थानीय पुलिस और एसटीएफ की मदद से तलाशी अभियान चलाया गया। मंगलवार को अर्चना को नेपाल बॉर्डर से सुरक्षित बरामद किया गया। उन्हें मेडिकल जांच के लिए भेजा गया है और पूछताछ जारी है कि आखिर वे वहां तक कैसे और क्यों पहुंचीं।

ग्वालियर कनेक्शन भी आया सामने

जांच में यह भी सामने आया कि अर्चना तिवारी कई दिनों से ग्वालियर के भंवरपुरा थाना में पदस्थ आरक्षक राम तोमर के संपर्क में थीं। उनके कॉल रिकॉर्ड में इस बात की पुष्टि हुई है। परिजनों द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत के बाद जीआरपी ने इस दिशा में भी जांच की।

हॉस्टल और परिजनों के बयान

अर्चना जिस हॉस्टल में रहती थीं, वहां वे रूममेट्स से बहुत कम बातचीत करती थीं। अधिकतर समय फोन पर व्यस्त रहती थीं। रूममेट्स द्वारा पूछे जाने पर वे परिजनों से बात करने की बात कहकर टाल देती थीं। बरामदगी से पहले उनके मुंहबोले भाई दिव्यांशु मिश्रा ने भी कहा था कि वह सुरक्षित हैं और परिवार से उनकी बातचीत हुई है।

जांच जारी

पुलिस ने स्पष्ट किया है कि फिलहाल अर्चना सुरक्षित हैं और उन्हें मध्य प्रदेश लाया जा रहा है। जांच इस दिशा में जारी है कि आखिर किन परिस्थितियों में वे नेपाल सीमा तक पहुंचीं।

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