
सेंधवा। रमन बोरखड़े। सिख धर्म के छठे गुरु, मीरी पीरी के मालिक श्री गुरु हरगोविंद साहिब जी का पावन प्रकाश पर्व गुरुद्वारा साहिब में आस्था, श्रद्धा और उल्लास के साथ मनाया गया। इस अवसर पर सिख संगत ने पूरे श्रद्धाभाव से गुरु जी को स्मरण किया और पूरे दिन धार्मिक कार्यक्रमों में भाग लिया। समारोह की शुरुआत सुबह 10.30 बजे से हुई, जब समूह संगत ने मिलकर श्सुखमनी साहिबश् का पाठ किया। इसके पश्चात ज्ञानी मोहन सिंह जी, हजूरी रागी, ने 12.30 बजे तक शब्द कीर्तन कर संगत को निहाल किया। कीर्तन की मधुर धुनों से वातावरण भक्तिमय हो गया।
इसके पश्चात दोपहर 1 बजे से गुरु का अटूट लंगर आरंभ हुआ, जिसमें मिस्सी रोटी, प्याज, आचार, आम और लस्सी विशेष रूप से परोसे गए। सैकड़ों श्रद्धालुओं ने गुरु का प्रसाद ग्रहण किया और लंगर सेवा में भाग लिया।
इस पावन अवसर पर संगत ने गुरु हरगोविंद साहिब जी के जीवन, उनके त्याग, वीरता और आध्यात्मिक शिक्षाओं को स्मरण किया। उनके श्मीरी-पीरीश् सिद्धांत को आज भी सिख समुदाय में आध्यात्म और नेतृत्व का प्रतीक माना जाता है।
गुरुद्वारा साहिब को इस विशेष दिन पर सजाया गया था, और आयोजन में महिलाओं, पुरुषों व बच्चों की बड़ी संख्या में भागीदारी देखी गई। श्रद्धालुओं ने एकजुट होकर भाईचारे, सेवा और समर्पण का भाव प्रकट किया।