सनातनधर्म दो शब्दों का समूहएक नहीं अतः सनातन और धर्म भी अलग-अलग है
सनातन के नियम प्रकृति के अनुसार इस संसार को संचालित करने की प्रेरणा देते हैं

धर्म और सनातन दोनों भिन्न हैं
इंदौर। सनातनधर्म दो शब्दों का समूहएक नहीं अतः सनातन और धर्म भी अलग-अलग है सनातन के नियम प्रकृति के अनुसार इस संसार को संचालित करने की प्रेरणा देते हैं जिन्हें परिवर्तित नहीं किया जा सकता और ना ही मिटाया जा सकता है क्योंकि वह प्रकृति के संचालक है परंतु धर्म मानव निर्मित वह नियम है जो मानव को प्रकृति को संरक्षित करते हुए मानवीय लक्षण धर्म अर्थ काम व मोक्ष की प्राप्ति की क्षमता प्रदान करते हैं प्रत्येक व्यक्ति का एक स्वधर्म होता है जो प्रतिपल परिवर्तित हो जाता है जैसे पिता के सामने पुत्र धर्म का पालन और पुत्र के साथ पिता धर्म का पालन करना होता है अखिल भारतीय ज्योतिष वास्तु संगठन द्वारा गांधी हाल इन्दौर मे आयोजित दो दिवसीय ज्योतिष महासम्मेलन में पंडित कृपाराम उपाध्याय ने अपने विचार व्यक्त किये, प्रारंभिक सत्र में कार्यक्रम का शुभारंभ श्री प्रेमानंद महाराज राजनंदमहाराज , रामशंकर तिवारी , योगेंद्र महंत , दिलीप राजपाल , रामचंद्र शर्मा वैदिक , विनोद शास्त्री मुंबई , मोलेशभाई, पंकज शर्मा ने दीप प्रज्वलित कर किया विनायक पूजन श्री विनोद शास्त्री इंदौर एवं मंगलाचरण के रूप में शिव तांडव सुश्री योगेश्वरी मुंबई ने किया मीडिया प्रभारी ज्योतिषाचार्य एमके जैन ने बताया कि पूरे देश से ज्योतिष वास्तु तंत्र हस्तरेखा रेकीहीलिंग के लगभग 350 विद्वान सम्मिलित हुए एवं शहर की जनता को निशुल्क परामर्श दिया विशेष रूप से महिला सत्र में श्रद्धा सोनी , पूनम बाजपेयी , नीलू जैन , प्रतिभा राउत रेणुका शाह , कामना लाड, रेणुका पांचाल , प्रमिला गुप्ता , भावना खेमनानी के अलावा लगभग 56 महिला विद्वानों ने अपने उद्बोधन में विभिन्न विधाओं पर प्रकाश डाला।
द्वितीय सत्र में श्री रामकृष्ण मुले, श्री कैलाश मित्तल , श्री संदीप जैन , श्री प्रफुल्ल चौरसिया , श्री विनोद गोयल , एवं श्री भूपेंद्र सिंह का पत्रकारिता जगत में उल्लेखनीय सेवाओं के लिए सम्मानित किया गया ।
अतिथियों का स्वागत संजय शर्मा , गौरव गुप्ता , प्रकाश गौड़, जितेंद्र नाथ , नारायण वैष्णव , उमाशंकर ने किया संचालन एमके जैन ने किया एवं आभार गौरव अग्रवाल ने माना।